झुंझुनूं: शिक्षा नगरी पिलानी में स्थित भारत सरकार के रिसर्च सेंटर,
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग अनुसंधान
संस्थान (CEERI) में आग लगने से
हडक़ंप मच गया। लैबोरेट्री में करीब एक घंटे की आग ने सीरी को करीब 20 करोड़ रुपए के नुकसान के नीचे भी दबा दिया।
वहीं एक वैज्ञानिक और एक
ट्रेनी भी आग की चपेट में आने से घायल हो गए। जानकारी के मुताबिक मंगलवार को रोज
की तरह सीरी कैंपस में स्थित माइक्रो इलेक्ट्रो मेक्निकल सिस्टम की लैबोरेट्री में
रिसर्च का काम चल रहा था।
इसी रिसर्च के काम में
वैज्ञानिक रंजन मौर्य तथा ट्रेनी गौरव लगे हुए थे कि अचानक अज्ञात कारणों से आग लग
गई और अफरा तफरी मच गई। दोनों घायलों को पहले तो पिलानी के बिरला अस्पताल में ले
जाया गया। जहां से एक की हालत गंभीर होने पर उसे जयपुर रैफर किया गया। वहीं घटना
के बाद चिड़ावा डीएसपी प्रतापमल केडिया भी मौके पर पहुंचे और मौका मुआयना किया।
आग पर काबू पाने के लिए
ना केवल पिलानी, बल्कि चिड़ावा से
भी फायर ब्रिगेड मंगवाई गई। घटना के बाद सीरी के कार्यवाहक निदेशक डॉ. जमील अख्तर
ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए बताया कि घटना में कितना नुकसान हुआ है और
वास्तविक कारण क्या थे? इसकी जांच के लिए
कमेटी का गठन किया जा रहा है। इधर, माना जा रहा है शुरुआती
तौर पर करीब 20 करोड़ रुपए का
नुकसान आका गया है।
नुकसान का आंकड़ा बढऩे की
संभावना भी जताई जा रही है। क्योंकि इसी लैब के पास और नीचे भी महत्वपूर्ण
लेबोरेट्रीज थी। यदि आग उन तक पहुंच जाती तो ना केवल आग पर काबू पाना मुश्किल हो
जाता। बल्कि नुकसान भी काफी बढ़ जाता। शुरुआती तौर पर केमिकल से ही आग लगने के
कारण सामने आ रहे है। लेकिन असली कारण जांच से ही सामने आएंगे।
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